शमशान का नाम सुनते ही लोग डर से कांपने लगते है। लेकिन अगर शमशान में कोई डरावना दृश्य देखने मिल जाये तब तो इंसान की न जाने क्या दशा होगी। ऐसा ही हुआ एक व्यक्ति के साथ जो एक शमशान के सामने से गुजर रहा था और रात्रि के वक़्त उसे एक चिता जलती हुई दिखी। उसने आस पास नज़र घुमाई लेकिन वहां कोई भी मौजूद नहीं था।
पुलिस द्वारा जांच पड़ताल
डर से कांपते हुए वह व्यक्ति पुलिस स्टेशन पहुंचा। उसने पुलिस को अकेले जलती हुई चिता का वर्णन दिया और धीरे धीरे गांव वाले शमशान के बहार एकत्रित हो गए। सभी को इस बात का अचम्बा हुआ कि आखिर चिता में आग लगाई किसने। चिता जलने तक घर का कोई व्यक्ति वहां मौजूद क्यों नहीं था? खैर बात पुलिस तक पहुंच ही गई थी तो राज़ खुलना ही था।
दहेज़ प्रथा की शिकार
जांच के दौरान पता चला की शव एक महिला की थी जिसका नाम था गायत्री। उसकी शादी हाल ही में हुई थी और ससुराल वालों से आये दिन उसकी झड़प होती थी। उसके ससुराल वाले दहेज़ को लेकर उससे मारपीट करते थे। पुलिस को आशंका हुई की उन लोगों ने ही गायत्री की हत्या की है।
ससुराल वालों का कड़वा सच
हालाँकि पुलिस को शव मिलने में थोड़ी देर हो गई लेकिन आधे से ज़्यादा जले हुए शव को भी पुलिस ने पोस्ट मॉर्टम के लिए भेजा। दहेज़ के ऐसे मामलों में अक्सर लोग बहुओं को मार कर उनकी लाश ठिकाने लगाते है जैसे वे बच जाए।
हो गई तहकीकात पूरी
पूरी तहकीकात के बाद यह सामने आया की गायत्री की हत्या उसके पति ने अपने परिवार वालों के साथ मिलकर की थी। ना जाने कितनी ही ऐसी लड़कियां मौत के घाट उतार दी जाती है लेकिन गायत्री को इन्साफ मिला और उसके हत्यारे पकड़े गए।